कोई सोया नहीं रात भर.. जागती ऑंखें बताती हैं...कोई सोया नहीं रात भर, याद करता रहा तारे गिन, वो रात भर । बिस्तर की सिलवटें कहती हैं...कोई सोया नहीं रात भर, गिनते रहे करवटों का बदलना, वो रात भर । किताबों में रखे गुलाब बताते है...कोई सोया नहीं रात भर, मुरझाये फूलों से पाते रहे खुश्बू का अहसास, वो रात भर ।...
मेट्रो में चीन की दीवार
6 वर्ष पहले